Monday, December 12, 2016
उड़ गए सब स्वप्न क्यूँ नयन से
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हमारा जीवन कई रंगों से सराबोर रहता है | जहाँ एक और आशावाद का चरमोत्कर्ष नज़र आता है, वही दूसरी ओर नैराश्य भी निहित है | बस इसी आशा और निराशा के बीच उपजा ये गीत आपके लिए....
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